MP: अतिथि शिक्षकों को मंत्री उदय प्रताप सिंह की माफ़ी नामंजूर, बड़ा प्रदर्शन होगा..

भोपाल। मध्य प्रदेश के 70000 अतिथि शिक्षकों ने स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह की माफी को ना-मंजूर कर दिया है। उन्होंने ऐलान किया है कि हम स्कूल शिक्षा विभाग में ना तो मेहमान है और ना ही बाहरी है। यह डिपार्टमेंट हमारा है। हमने इसे अपने खून और पसीने से सींचा है। कोई चुनावी समझौता सरकार की मजबूरी हो सकती है, हमारी मजबूरी नहीं है। नियमितीकरण हमारा अधिकार है और हम लेकर रहेंगे।
इसके बाद मध्य प्रदेश में अतिथि शिक्षकों के बीच काफी आक्रोश एवं तनाव का माहौल है और अब अतिथि शिक्षक दिनांक 2 अक्टूबर 2024 को बड़े आंदोलन की तैयारी में है क्योंकि मध्य प्रदेश के माननीय शिक्षामंत्री जी श्री उदय प्रताप सिंह द्वारा दिए गए बयान “मेहमान हो तो क्या घर पर कब्जा कर लोगे” के बाद अतिथि शिक्षकों के बीच काफी आक्रोश एवं तनाव का माहौल है। भले ही शिक्षा मंत्री जी ने यूटर्न लेते हुए माफी भी मांग ली, परंतु जिस तरह कमान से निकला हुआ तीर कभी वापस नहीं आता, ठीक उसी तरह सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने के बाद मंत्री जी अपनी कही गई बात को झुठला नहीं पाए और अपने ही बयान को घुमा-फिरा कर बता दिया, जैसे कि अतिथि शिक्षक कोई छोटे बच्चे हैं और कोई छोटी टॉफी लेकर समझ जाएंगे।
अतिथि, नाम से पदनाम से अतिथि है वह, बाकी जो प्राथमिकताएं हैं हम दे सकते हैं। इसके बाद भी, हमारे मध्य प्रदेश के बच्चे हैं, हमारे अपने बच्चे हैं, कहीं कोई भी विसंगति नहीं है, और मैंने कहा भी। हमारे बच्चों को, अतिथियों को जिन्होंने शिक्षण व्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान दिया, अगर उनको तकलीफ हो, तो स्वाभाविक रूप से हमारे प्रदेश के बच्चे हैं, हमारे अतिथि शिक्षक हैं, हमारे अपने हैं वह, उनको यदि तकलीफ हुई तो मैं खेद व्यक्त करता हूं। इसमें कहीं कोई संकोच नहीं है। कोई संशय नहीं है, और अपनों के बीच में, किसी किस्म की कोई विसंगति नहीं होनी चाहिए। बिल्कुल स्पष्ट है कि हमारी प्राथमिकता के क्रम में वह हैं। किसी किस्म के कन्फ्यूजन की आवश्यकता नहीं है। हमारी प्राथमिकता के क्रम में जब हमने उनको रखा है, और लगातार हम उनका काम कर रहे हैं, उनकी पेचीदगियों को दूर करने का प्रयास कर रहे हैं। इससे अधिक विभाग क्या कर सकता है। 55000 के लगभग अतिथि शिक्षक लगे हुए हैं, और बीच-बीच में निकल जाते थे। हमने वित्त विभाग को भेजा है कि, अतिथि यदि एक बार लग जाता है तो कम से काम पूरा सेशन उससे काम कराया जाए। बीच में निकलने से रोजगार की समस्या पैदा होती है।

img 20240925 1614127412399168050138134
MP: अतिथि शिक्षकों को मंत्री उदय प्रताप सिंह की माफ़ी नामंजूर, बड़ा प्रदर्शन होगा.. 3


कहा था – नियमितीकरण भूल जाओ


अतिथि शिक्षक संवेदनशील है। शिक्षक दिवस के अवसर पर प्रदर्शन की पूरी तैयारी हो गई थी परंतु मुख्यमंत्री को पितृ शोक हुआ तो प्रदर्शन स्थगित कर दिया। इसके बाद मुख्यमंत्री द्वारा 1 साल पहले अतिथि शिक्षक पंचायत में की गई घोषणाओं को याद दिलाने आए तो मुख्यमंत्री सुनने को तैयार नहीं हुए। स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह ने प्रदर्शन कर रहे हैं अतिथि शिक्षकों को बुलाया और स्पष्ट रूप से कहा की “नियतिकरण तो भूल जाओ”। अतिथि शिक्षक इसी दिन से अपनी मांग के समर्थन में नई रणनीति बना रहे थे। मेहमान वाले बयान ने आग में घी का काम किया है।

Sanjay Saxena

BSc. बायोलॉजी और समाजशास्त्र से एमए, 1985 से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय , मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के दैनिक अखबारों में रिपोर्टर और संपादक के रूप में कार्य कर रहे हैं। आरटीआई, पर्यावरण, आर्थिक सामाजिक, स्वास्थ्य, योग, जैसे विषयों पर लेखन। राजनीतिक समाचार और राजनीतिक विश्लेषण , समीक्षा, चुनाव विश्लेषण, पॉलिटिकल कंसल्टेंसी में विशेषज्ञता। समाज सेवा में रुचि। लोकहित की महत्वपूर्ण जानकारी जुटाना और उस जानकारी को समाचार के रूप प्रस्तुत करना। वर्तमान में डिजिटल और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया से जुड़े। राजनीतिक सूचनाओं में रुचि और संदर्भ रखने के सतत प्रयास।

Related Articles