Openion
बदल रहा है अयोध्या…!

अयोध्या…। भगवान श्रीराम की नगरी। बरसों से यहां मंदिर बनाने का मुद्दा पूरे देश को आंदोलित किए हुए था। आज जब मंदिर बन चुका है, तो एक नया आंदोलन शुरू होता दिख रहा है। यह आंदोलन नहीं, असल में अयोध्या में निवेश कर रामभक्तों से व्यवसाय करने और कड़वा सच यह है कि उन्हें लूटने की होड़ ज्यादा है। हम धर्म के नाम पर धंधा करने लगते हैं तो धर्म एक तरफ रह जाता है, व्यवसाय प्रमुख हो जाता है। और अब अयोध्या में वही हो रहा है।
खबर आई है कि अयोध्या में धंधे की आस लेकर निवेश करने की होड़ अरुणाचल प्रदेश के डिप्टी सीएम से लेकर बृजभूषण शरण सिंह के सांसद पुत्र तक इस होड़ में शामिल दिख रहे हैं। पार्टी लाइन से अलग हटकर तमाम राजनीतिक दलों के नेताओं का ध्यान इस तरफ है। वहीं, यूपी एसटीएफ के प्रमुख से लेकर अडाणी और लोधा जैसे व्यावसायिक समूह भी यहां इन्वेस्टमेंट में अपना फायदा देख रहे हैं।
लोकसभा चुनाव 2024 में फैजाबाद सीट से भाजपा की हार के बाद यहां की स्थिति बदलने की आशंका जताई जा रही थी। लेकिन ऐसा कुछ नहीं दिख रहा है। जनवरी में राम मंदिर के उद्घाटन के बाद सरकार ने यहां जो पब्लिक प्राइवेट डेवलपमेंट पैकेज शुरू किया है, उसने जमीन को प्रमुख रियल एस्टेट में बदल दिया है। राम मंदिर को सुप्रीम कोर्ट ने नवंबर 2019 में अनुमति दी थी। इस फैसले के बाद से लेकर मार्च 2024 तक की जमीन बिक्री का आंकड़ा साफ इस इलाके की स्थिति को दिखाता है।
अयोध्या और आसपास के जिलों गोंडा और बस्ती के कम से कम 25 गांवों में जमीन लेन-देन की संख्या में 30 प्रतिशत तक की वृद्धि हुई है। यह मंदिर के 15 किलोमीटर के दायरे में आती है। इनमें से कई सौदे परिवार के सदस्यों या विभिन्न दलों के राजनेताओं और सरकारी अधिकारियों से करीबी तौर पर जुड़े लोगों के हैं। इंडियन एक्सप्रेस ने इस मामले में विस्तृत रिपोर्ट प्रकाशित की है।
भगवान श्रीराम की जन्मस्थली अयोध्या में बसने की चाहत अरुणाचल प्रदेश के डिप्टी सीएम चौना मीन ने भी दिखाई है। उनके बेटों चौ कान सेंग मीन और आदित्य मीन ने सितंबर 2022 और सितंबर 2023 के बीच अयोध्या और गोंडा को अलग करने वाली सरयू नदी के पार महेशपुर में जमीन खरीदी है। यह जमीन मंदिर से 8 किलोमीटर दूर है। उन्होंने 3.99 हेक्टेयर जमीन 3.72 करोड़ रुपये में खरीदी है। 25 अप्रैल 2023 को उन्होंने 0.768 हेक्टेयर जमीन 98 लाख रुपये में बेची। आदित्य मीन ने कहा कि हमने पर्यटन विकास के लिए जमीन खरीदी है। हम एक होटल बनाएंगे और कुछ भूनिर्माण भी करेंगे।
कैसरगंज से भाजपा के पूर्व सांसद बृज भूषण सिंह के बेटे और वर्तमान सांसद करण भूषण सिंह नंदिनी इन्फ्रास्ट्रक्चर के मालिक हैं। उन्होंने जनवरी 2023 में मंदिर से 8 किलोमीटर दूर महेशपुर (गोंडा) में 0.97 हेक्टेयर जमीन 1.15 करोड़ रुपये में खरीदी थी। उन्होंने जुलाई 2023 में 635.72 वर्ग मीटर जमीन 60.96 लाख रुपये में बेची। जून 2024 में करण भूषण कैसरगंज के नए भाजपा सांसद चुने गए। बृजभूषण राष्ट्रीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष रहे हैं और उन पर महिला पहलवानों ने यौन उत्पीडऩ और मारपीट का आरोप लगाया गया था। मामला अभी चल रहा है।
और तो और यूपी पुलिस के स्पेशल टास्क फोर्स के प्रमुख एडीजीपी अमिताभ यश भी अयोध्या में इन्वेस्टमेंट करते दिख रहे हैं। उनकी मां गीता सिंह ने फरवरी 2022 से 2 फरवरी 2024 के बीच महेशपुर, दुर्गागंज (गोंडा) और मऊ यदुवंशपुर (अयोध्या) में मंदिर से 8 से 13 किलोमीटर दूर 9.955 हेक्टेयर कृषि योग्य भूमि 4.04 करोड़ रुपये में खरीदी। इनमें से उन्होंने 16 अगस्त 2023 को महेशपुर में 0.505 हेक्टेयर जमीन 20.40 लाख रुपये में बेची। वहीं, यूपी गृह विभाग के सचिव संजीव गुप्ता की पत्नी डॉ. चेतना गुप्ता ने 5 अगस्त 2022 को मंदिर से 14 किलोमीटर दूर बनवीरपुर (अयोध्या) में 253 वर्ग मीटर आवासीय भूमि 35.92 लाख रुपये में खरीदी, जिसे बाद में उन्होंने बेच दिया।
यूपी शिक्षा विभाग के संयुक्त निदेशक अरविंद कुमार पांडेय और उनकी पत्नी ममता ने जून और अगस्त 2023 के बीच मंदिर से 7 किलोमीटर दूर शाहनवाज पुर माझा (अयोध्या) में 1,051 वर्ग मीटर आवासीय भूमि 64.57 लाख रुपये में खरीदी। रेलवे के डिप्टी चीफ इंजीनियर महाबल प्रसाद के बेटे अंशुल ने नवंबर 2023 में मंदिर से 7 किलोमीटर दूर शाहनवाज पुर माझा में एक अन्य व्यक्ति के साथ मिलकर 0.304 हेक्टेयर कृषि भूमि 24 लाख रुपये में खरीदी। एडिशनल एसपी (अलीगढ़) पलाश बंसल के पिता देशराज बंसल ने अप्रैल 2021 में दिल्ली के ईश्वर बंसल के साथ मिलकर मंदिर से 15 किलोमीटर दूर राजेपुर उपरहार (अयोध्या) में 1781.03 वर्ग मीटर आवासीय भूमि 67.68 लाख रुपये में खरीदी थी। एसपी (अमेठी) अनूप कुमार सिंह के ससुराल वालों शैलेंद्र सिंह और मंजू सिंह ने मिलकर 21 सितंबर 2023 को मंदिर से 9 किलोमीटर दूर दुर्गागंज (गोंडा) में 4 हेक्टेयर कृषि भूमि 20 लाख रुपये में खरीदी। यूपी के पूर्व डीजीपी यशपाल सिंह ने दिसंबर 2020 से सितंबर 2023 के बीच मंदिर से 14 किलोमीटर दूर बनवीरपुर (अयोध्या) में 0.427 हेक्टेयर कृषि भूमि और 132.7137 वर्ग मीटर आवासीय भूमि 73 लाख रुपये में खरीदी। उनकी पत्नी गीता सिंह बलरामपुर की पूर्व सपा विधायक हैं।
अयोध्या के विकास पर व्यवसायिक प्रतिष्ठानों की भी नजर है। मुंबई की रियल एस्टेट की दिग्गज कंपनी एचओबीएल की ओर से भी बड़ा इन्वेस्टमेंट हुआ है। जून 2023 और मार्च 2024 के बीच एचओबीएल ने मंदिर से लगभग 12 किलोमीटर दूर सरयू के तट पर तिहुरा माझा में 17.73 हेक्टेयर कृषि भूमि और 12,693 वर्ग मीटर आवासीय भूमि खरीदी। इसमें बिक्री समझौते में सूचीबद्ध 217 वर्ग मीटर शामिल है। कुल खरीद 74.15 करोड़ रुपये की है। बाद में इसी फर्म ने गांव में लगभग 31.24 करोड़ रुपये में 7.54 हेक्टेयर और जमीन खरीदी।
अहमदाबाद की अडाणी ग्रुप भी अयोध्या में इन्वेस्टमेंट करती दिख रही है। पिछले साल 18 सितंबर को कंपनी ने होमक्वेस्ट इंफ्रास्पेस नामक एक सहायक कंपनी बनाई गई। इसने नवंबर और दिसंबर के बीच मंदिर परिसर से लगभग 6 किलोमीटर दूर माझा जामथारा में 1.4 हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि खरीदी। खरीद की कुल कीमत 3.55 करोड़ रुपये बताई जा रही है। कंपनी के एक प्रवक्ता का कहना है कि लेन-देन सभी कानूनों और नियमों के अनुसार किया गया। कंपनी ने भविष्य के विकास के लिए एक निजी पार्टी से जमीन खरीदी है। इसी प्रकार कर्नाटक के व्यक्ति विकास केंद्र ने 9.03 करोड़, दिल्ली की गलगोटिया होटल एंड रिसॉर्ट्स ने 7.57 करोड़, यूपी की द इनोवेटर्स डिजिटल ऐड्स ने 29 करोड़, कर्नाटक की सवार्थिया डेवेलपर्स ने 26.64 करोड़, यूपी की रामाकुलम रीजेंसी एलएलपी ने 7.30 करोड़ की लागत से जमीन के टुकड़े खरीदे हैं। यूपी की श्री रामाजयम एस्पायर ने 5.60 करोड़, त्रिवेणी ट्रस्ट ने 5.91 करोड़, एबीएमएम महेश्वरी फाउंडेशन महाराष्ट्र, भारद्वाज ग्लोबल इन्फ्रावेंचर्स यूपी, अवधसिटी डेवेलपर्स यूपी, जखोदिया मिनरल्स प्राइवेट लिमिटेड छत्तीसगढ़, अवध इंटरप्राइजेज यूपी और अयोध्या सरयू इन्फ्रा एलएलपी तेलंगाना ने भी यहां जमीन में इन्वेस्टमेंट किया है।
कुल मिलाकर देखा जाए तो अयोध्या अब धार्मिक के बजाय बड़ा टूरिस्ट हब बनने जा रहा है और वहां सामान्य लोगों के लिए कुछ सुविधाएं होंगी, कहा नहीं जा सकता। जो पैसा लगा रहे हैं, वो यहां आने वाले रामभक्तों से ही कमाएंगे। तो अब बहुत जल्द अयोध्या एक पर्यटन स्थल और व्यावसायिक हब का रूप ले लेगा। जय सियाराम।
-संजय सक्सेना

Exit mobile version