भोपाल। मध्य प्रदेश को औद्योगिक प्रदेश बनाने की दिशा में प्रदेश की मोहन सरकार के प्रयास लगातार जारी है। ग्लोबल इंवेस्टर समिट (GIS) यात्रा मुंबई, कोयंबटूर और बैंगलुरु से होते हुए अब पुणे की तरफ बढ़ रही है। फरवरी माह में भोपाल में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में ग्लोबल इंवेस्टर समिट होने जा रही है। मध्य प्रदेश औद्योगिक विकास की नई इबारत लिखने की ओर अग्रसर है। मप्र ने जहां रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव से प्रदेश के उद्यमियों को जोड़ा है, वहीं मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव
विदेशों तक भी निवेश आमंत्रण लेकर पहुंचे हैं। इसी कड़ी में देश के बड़े शहरों से संबद्ध नामवर कंपनियों को भी मप्र लाने के प्रयास किए जा रहे हैं। इसी को लेकर मुंबई, कोयंबटूर और बैंगलुरु में इंटरेक्टिव सेशन किए जा चुके हैं। इसकी अगली कड़ी में अब पुणे में यह आयोजन होगा।
मुंबई मंथन का सार
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की मुंबई में निवेशकों के साथ चर्चा में 41 उद्योग समूहों ने 75 हजार करोड़ के निवेश प्रस्ताव दिए हैं। इन निवेश प्रस्तावों के जरिये एक लाख रोजगार पैदा होंगे। मुंबई में हुए कार्यक्रम में रिलायंस के अनिल अंबानी, ग्रेसिम के एचके अग्रवाल सहित कई उद्योगपतियों ने निवेश पर चर्चा की गई है। जेएसडब्ल्यू के पार्थ जिंदल ने बैतूल, शहडोल और दमोह में 17 हजार करोड़, एलएंडटी ने इंदौर में 2000 करोड़, गोदरेज ने भिंड में 450 करोड़, योटा डेटा सर्विस ने इंदौर में 450 करोड़ के निवेश का प्रस्ताव रखा है।
कोयंबतूर से मिले प्रस्ताव
मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने कोयंबतूर में 1200 से अधिक प्रतिनिधियों से चर्चा की। सेशन में 20 से अधिक स्थानीय औद्योगिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने सहभागिता की, जिसमें त्रिपुर एक्सपोर्टर्स एसोसिएशन (TEA), द सदर्न इंडियन मिल्स एसोसिएशन (SIMA), द साउथ इंडिया स्पिनर्स एसोसिएशन (SISPA), इण्डियन कॉटन फेडरेशन, द सदर्न इंडिया इंजीनियरिंग मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (SIEMA), अपैरल एक्सपोर्ट प्रमोशन कौंसिल, इण्डियन टेक्सप्रेनर्स फेडरेशन आदि शामिल हैं। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव और उद्यमियों के बीच हुए संवाद से
प्रदेश में औद्योगिक इकाइयों के लिए कुल 3500 करोड़ रूपए से अधिक के निवेश के रास्ते प्रशस्त हुए हैं।
सिलिकॉन सिटी बैंगलुरु भी मप्र के लिए लालायित
बेंगलुरु सेशन से मध्य प्रदेश को लगभग 3200 करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। इससे लगभग रोजगार के 7 हजार अवसर सृजित होंगे। इस दौरान गूगल क्लाउड ने कुशल कार्यबल को बढ़ाने के लिए मध्य प्रदेश में स्टार्टअप हब और सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना का प्रस्ताव दिया है। वहीं, तेजस विमान की निर्माता हिन्दुस्तान एरोनाटिक्स लिमिटेड से मध्य प्रदेश में रक्षा संबंधी उद्योग स्थापना के संबंध में चर्चा हुई है। इसी प्रकार एन वीडिया ने मध्य प्रदेश को ‘भारत की इंटेलिजेंस राजधानी’ के रूप में स्थापित करने के लिए ब्लू प्रिंट तैयार करने का सुझाव दिया है।बैंगलुरु सेशन में आईटी कंपनियों की ख्यातिनाम संस्था नैसकॉम और स्पेस टेक्नोलॉजी सेक्टर के प्रतिनिधियों तथा इंफोसिस, कॉग्निजेंट, टीसीएस, हैपियस माइन्स और सैप इत्यादि के साथ प्रदेश में आईटी के विकास और उनके भविष्य की योजनाओं के संबंध में चर्चा हुई है।
अब पुणे से बड़ी उम्मीदें
देश के बड़े शहरों में उद्यमियों से किए जा रहे मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के संवाद का अगला पड़ाव पुणे होगा। वे 22 जनवरी को पुणे में उद्योगपतियों से संवाद कर प्रदेश के औद्योगिक विकास से जुड़ने का आमंत्रण देंगे। माननीय मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव इस दौरान इस क्षेत्र के उद्योगपतियों को फरवरी माह में भोपाल में आयोजित होने वाली ग्लोबल इंवेस्टर समिट के लिए भी आमंत्रित करेंगे। उम्मीद की जा रही है कि इस इंटरेक्टिव सेशन से भी बड़े निवेश प्रस्ताव मप्र की झोली में आएंगे।